समस्तीपुर के रोसड़ाक्षेत्र के जाने माने समाजवादी नेता व पूर्व
वार्ड पार्षद अब्दुल गफ्तार साहब (60) का आकस्मिक निधन बुधवार की सुबह हो
गया। वे राष्ट्रीय जनतादल से भी जुडे़ हुए थे। उनकी मृत्यु की खबर सुनकर
काफी संख्या में लोग उनके अंतिम दर्शन के लिए उमड़ पडे़ इसमें जन
प्रतिनिधियों के अलावा क्षेत्र के गणमान्य एवं बुद्धिजीवी तबके के लोग भी
शामिल थे। शाम में उनकी अंतिम यात्रा आवास से शुरू हुई। इसमें भी लोगों की
भीड़ काफी देखी गयी। शहर के मुख्य मार्गो से निकली यह यात्रा नगर पंचायत भवन
पर पहुंची जहां उपस्थित जनप्रतिनिधियों ने उन्हें अंतिम विदाई दी। छोटी
कब्रिस्तान में उनके सब को दफन किया गया। बता दें कि 1974 से लगातार गफ्फार
साहब लगातार राजनीतिक रूप से सक्रिय रहे। समाजवादी विचार धारा से जुडे़
स्व. गफ्तार साहब 2007 में नगर पंचायत वार्ड संध्या छह से पार्षद भी चुने
गये। गत चुनाव में वे मात्र 4 वोट से पीछे रहे गये बावजूद 'न जीत की खुशी न
हार का गम के सिद्धांत को' अपनाते हुए समाज सेवा में लगे रहे। उनकी मृत्यु
की खबर सुनकर सभी ने उनके प्रति शोक जताया है। पूर्व सांसद पीतांबर पासवान
एवं पूर्व विधायक गजेन्द्र प्रसाद सिंह ने उन्हें एक कर्तव्य निष्ट
व्यक्ति बताते हुए इसकी क्षति पूर्ति भविष्य में नहीं होने की बात कही है।
इधर राजद के नगर अध्यक्ष नारायण ठाकुर के आवास पर एक श्रद्धांजलि सभा का
आयोजन किया गया जिसमें राम स्वार्थ यादव, दशरथ सहनी, राम दुला शर्मा,
कपिलदेव महतो एवं अशोक महतो समेत श्रद्धांजलि सभा में भाग लिए। बता दें कि
बुधवार की अहले सुबह अचानक उनकी तबियत खराब हो गयी आनन फानन में उन्हें एक
निजी क्लिनिक पहुंचाया गया जहां से उन्हें विशेष चिकित्सा हेतु बेगूसराय के
लिए रेफर किया गया लेकिन बीच रास्ते में ही उनकी मौत हो गयी।
ONE NEWS LIVE NETWORK/ SAMASTIPUR रेल मंडल मुख्यालय स्थित समस्तीपु स्टेशन पर प्रतिदिन औसतन 15 हजार यात्री अपने यात्रा का शुभारंभ करते थे। इसमें अधिकांश दैनिक यात्री शामिल हैं। लेकिन लॉकडाउन के कारण फिलहाल यहां यात्रियों की इंट्री पर रोक लगी है। प्लेटफार्म पर सवारी गाड़ी कोच तो लगी है, लेकिन खुलती नहीं है। जिसकी सुरक्षा में आरपीएसएफ को लगाया गया है। प्लेटफार्म पर इन दिनों गश्ती करते हुये आरपीएफ एवं आरपीएसएफ कर्मचारी के अलावे कुछ सफाई कर्मी ही नजर आते हैं।स्टेशन, बस पड़ाव यह नाम सुनते ही लोगों के जेहन में भीड़ भाड़ वाला दृश्य सामने घूमने लगता है। रेलवे स्टेशन एक ऐसा स्थान है, जहां 24 घंटे लोगों का जमघट रहता है। बीच-बीच में ट्रेनों के तेज हार्न एवं यात्रीगण कृपया ध्यान दें, पूछताछ केंद्र से निकली यह आवाज लोगों को अपने गंतव्य स्थान की याद दिलाती रहती है। लेकिन लॉकडाउन के कारण यहां आज वीरानगी छायी हुई है। देश में पहली बार रेलवे के पहिया इस कदर रूक गया कि पिछले 18 दिनों से स्टेशनों पर यात्रियों की इंट्री नहीं हो पायी है। कोरोना वायरस कोविद 19 को लेकर स्टेशन परिसर, प्लेटफार्म, प्रतिक्षालय सभी...
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