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उद्योगपति कुमार मंगलम बिड़ला

 उद्योगपति कुमार मंगलम बिड़ला और पूर्व कोयला सचिव पीसी पारेख के खिलाफ सीबीआइ ने 2005 में कोल ब्लॉकों के आवंटन में कथित अनियमितताओं को लेकर मंगलवार को आपराधिक साजिश व भ्रष्टाचार के मामले दर्ज किये. प्राथमिकी दर्ज करने के बाद सीबीआइ की टीमों ने मुंबई, दिल्ली, हैदराबाद और भुवनेश्वर में करीब छह जगहों पर सर्च अभियान चलाया. इनमें हैदराबाद और सिकंदराबाद में हिंडालको के दफ्तर और पारेख के आवास शामिल हैं.
सीबीआइ सूत्रों के मुताबिक ओडि़शा में 10 नवंबर, 2005 को आवंटित किये गये तालाबीरा के दो कोयला ब्लॉकों को लेकर आदित्य बिड़ला समूह और समूह की कंपनी हिंडालको के प्रप्रतिनिधि के तौर पर कुमार मंगलम बिड़ला के खिलाफ मामला दर्ज किया. आवंटन के समय पारेख कोयला सचिव थे. उन पर भ्रष्टाचार उन्मूलन अधिनियम के साथ ही आपराधिक षड्यंत्र और अन्य अपराधों के आरोप हैं.22 को दाखिल करनी है रिपोर्ट : सीबीआइ को हाल के दिनों में सुप्रीम कोर्ट में अप्रिय सवालों का सामना करना पड़ा है. कोर्ट ने सीबीआइ को निर्देश दिया था कि वह इस साल दिसंबर तक उन तमाम कंपनियों के खिलाफ जांच पूरी कर ले जिन्हें कोयला ब्लॉक आवंटित किये गये हैं. शीर्ष न्यायालय ने सीबीआइ को यह भी निर्देश दिया कि वह 22 अक्तूबर तक इस मुद्दे पर अपनी स्थिति रिपोर्ट दाखिल करे. 

समूह का पक्ष : समूह ने कोई प्राथमिकी प्राप्त होने व कदाचार के आरोपों से इनकार किया है. हिंडालको ने बंबई स्टॉक एक्सचेंज को सूचित किया है कि उन्होंने कोल ब्लॉक आवंटन मामले में तय प्रक्रिया का पालन किया है, जहां तक हिंडालको और उनके अध्यक्ष की की बात है, तो यह कंपनियों को कोल आवंटन से जुड़ा एक बड़ा मामला लगता है. उन कंपनियों में से एक होने के नाते हम भी जांच के दायरे में आ रहे हैं.

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